न्यूजभारत20 डेस्क/जमशेदपुर:- सरकारी एंबुलेंस की सुविधा सिर्फ नाम के लिए ही है। कहा जाता है कि इसकी सेवा निः शुल्क होती है, लेकिन ऐसा बिल्कुल ही नहीं है। रविवार को कुछ इसी तरह का एक मामला सामने आया। पोटका के कोवाली की एक 4 साल की बच्ची की मौत हो गई थी। मौत के बाद जब परिवार के लोग शव को पोस्टमार्टम हाउस पहुंचाने के लिए कहा तब एंबुलेंस चालक ने 1000 रुपये ले लिया। जबकि परिवार के लोग लालकार्ड धारी थे। पोस्टमार्टम के बाद जब घर तक शव को पहुंचाने के लिए कहा तब उससे 3000 रुपये की मांग की गई। इस बीच भुक्तभोगी परिवार के लोगों ने पोटका विधायक संजीव सरदार से भी मदद मांगी थी, लेकिन उसने भी सुधि नहीं ली।