महिलाओ को सशक्त बनाना है लक्ष्य – अल्पा पारिख

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जमशेदपुर :-  कहते है कि अगर कुछ करने की तमन्ना हो तो समाज क लिए अच्छा काम करना चाहिए। ताकि समाज में लोगों के चेहरे पर खुशियां लाई जा सके। और ऐसा ही कर रही है जमशेदपुर की अल्पा पारीख । बता दें कि अल्पा पारिख एक बेहतर समाज के लिए काम करना चाहती है और सामाजिक रूप से काफी सक्रिय भी है।पिछले कई वर्षों से समाज सेवा में सक्रिय रहते हुए वर्ष 2017-18 में प्रतिष्ठित संस्था रोटरी क्लब में अध्यक्ष बनने से लेकर 2020-21 में एक उत्कृष्ट एजी तक का दायित्व इन्हे मिला। इसके अलावे भी श्रीमती अल्पा  संगठन में विभिन्न पदों पर भी रही हैं। सफर आगे बढ़ते हुए वर्ष 2021-22 में बुलेटिन संपादक और वर्ष 2022-23 में रोटरी कांफ्रेंस की मनोरंजन प्रमुख भी रही।

कई जरूरतमंदों को मिल चुका है लाभ…

इसके अलावे पिछले 3 वर्षों से अल्पा पारिख गुजराती संगठन वल्लभ युवा संगठन (VYO) की सक्रिय अध्यक्ष भी हैं। इस संस्था के माध्यम से उन्होंने बिहार और झारखंड के  जरूरतमंदों को दी जाने वाली 400 सारथी स्मार्ट ब्लाइंड स्टिक का वितरण कर समाज की मदद की है। उन्होंने रोटरी और VYO संगठन के माध्यम से जमशेदपुर में और उसके आसपास लगभग 60 से अधिक व्हीलचेयर और 20 से अधिक तीनपहिया साइकिल के लिए व्यक्तिगत रूप से भी समर्थन किया है। अल्पा IFRM (रोटेरियन संगीतकारों की अंतर्राष्ट्रीय फैलोशिप) की चेयरपर्सन भी रह चुकी है और अब वह IFRM की जोनल हेड के रूप में काम कर रही हैं। इसके साथ ही वह एक इनर व्हील सदस्य भी हैं।

समाज सेवा के साथ डांस भी है पैशन …

समाज सेवा के साथ अल्पा पारिख एक जुनूनी डांसर हैं। डांसेशन के नाम से उनका अपना स्टूडियो है। वह पूरे जोश के साथ साल भर वर्कशॉप आयोजित करती हैं। अंग्रेजी की कहावत (many feathers in one cap ) अल्पा के लिए सटीक बैठता है। अल्पा ने जमशेदपुर में कई नवरात्रि के कार्यक्रमों का आयोजन भी किया है। एक दशक से भी अधिक समय तक इनके द्वारा कई शो भी किए गए हैं। साथ ही स्टील सिटी गोल्फ एंटरटेनमेंट शो का नेतृत्व भी अल्पा पारिख के द्वारा किया जा चुका है।

मन की बात को कविता के जरिए कागज पर उकेरती है अल्पा…

अल्पा ने बातचीत में बताया कि समाज में हर जरुरतमन्द व्यक्ति तक मदद पहुंचाना उनका लक्ष्य है। साथ ही एक महिला होने के नाते महिलाओ को सशक्त बनाना भी अल्पा पारिख का सपना है। समय मिलने पर अल्पा कविताओ के जरिए अपने मन की बातों को कागज पर उकेर देती है। इनकी कविताएं भी दिल को छूते हुए गुजर जाती है।

वर्ष 2017-18 में WOW (वीमेन ऑन व्हील्स) प्रोजेक्ट, जो अभी भी सक्रिय है, इसकी शुरुआत अल्पा के द्वारा ही किया गया था , जिसका मुख्य उद्देश्य वंचित महिलाओं को मारुति ड्राइविंग स्कूल में मारुति कार चलाने के लिए प्रशिक्षण देना था ।

कोरोना के समय में ऑनलाइन पढ़ाई करने के लिए जरुरतमन्द विद्यार्थियों को संस्था VYO के द्वारा कुल 21 मोबाईल फोन का भी वितरण किया गया था।

अल्पा कहती है कि मैं जो कर रही हूं उसे करना मुझे पसंद है क्योंकि यह लाभार्थियों के चेहरे पर मुस्कान लाती है और साथ ही यह भी कि दिन के अंत में यह मुझे संतुष्टि और खुशी की भावना देती है। इसलिए हमें काम करते रहना चाहिए और अपना सर्वश्रेष्ठ करते रहना चाहिए। अगर हम किसी के लिए अच्छा सोचेंगे तो हमारे खूद के लिए भी अच्छा ही होगा।

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